RABG LIVE NEWS DESK: पटना जैसे शहर में तीन दिनों के अंदर जिस तरह से हरी सब्जियों की कीमतों में उछाल आया है आम आदमी के चेहरे पर शिकन आ गया है ₹40 किलो की दर से बिकने वाला टमाटर आज पटना के बाजार में ₹130 की दर से बिक रहा है आलू की कीमतें भले ₹20 किलो और प्याज ₹25 किलो हो बाकी हरी सब्जियों के दामों में तीन दिनों के अंदर दोगुने ज्यादा की वृद्धि हुई है।
पटना के बाजार में भिंडी ₹60 किलो नेनुआ ₹50 किलो बैगन ₹70 किलो कद्दू ₹50 किलो हरी मिर्च 200 ₹ किलो सिद्धार पर मिल रही है बाकी हरी सब्जियों की कीमतें भी इसी तरह से आसमान छू रही हैं। आमतौर पर बरसात का मौसम शुरू होते ही हरी सब्जियों की खेती प्रभावित होती है पर इस बार बिहार में बारिश हुई नहीं है बावजूद इसके बिहार और खासकर पटना के बाजार में हरी सब्जियों के दाम आसमान छूने लगे हैं
बाजार पर किसका नियंत्रण है यह आज तक पता नहीं किसानों को उनके उत्पाद का उचित दर नहीं मिलता है बिचौलिए बाजार का भाव तय करते हैं। पटना के आसपास के इलाकों में ही मौसमी हरी सब्जियों की व्यापक पैमाने पर खेती होती हैं पटना के बाजार में जो हरी सब्जियां आम आदमी खरीदता है वहां आसपास के इलाकों में ही उत्पादित होती है। पटना के थोक सब्जी मंडियों की बात करें तो कच्ची दरगाह जहां दियार से व्यापक पैमाने पर हरी सब्जियां आती हैं उसके बाद अंटा घाट दीघा घाट गया की तरफ से आने वाली ट्रेनों से मीठापुर सब्जी मंडी में सबसे ज्यादा हरी सब्जियां थोक भाव में बिकने आती हैं पटना के सब्जी विक्रेता यहीं से सब्जियां खरीद कर विभिन्न इलाकों में ले जाते है। थोक और फुटकर की कीमतों में 5 से ₹10 का अंतर होता है पर फिलहाल यहां अंतर 2 गुना 3 गुना का हो गया है